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Showing posts from July, 2024

सुप्रीम कोर्ट ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को करीब 8 करोड़ प्रवासी श्रमिकों को राशन कार्ड देने को कहा

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  सुप्रीम कोर्ट ने दिया सभी 8 करोड़ ई-श्रम कार्ड धारकों का 2 महीनों के भीतर राशन कार्ड बनने का आदेश E Shram Card On Ration Card – Overview सभी ई-श्रम कार्ड धारक अपना जल्द से जल्द राशन कार्ड बनाएं सुप्रीम कोर्ट की नई आदेश जाने पूरी जानकारी – E  Shram Card On Ration Card सुप्रीम कोर्ट की आदेश 2 महीनों के भीतर 8 करोड़ ई-श्रम कार्ड धारकों का राशन कार्ड बने  अगर आप एक ई-श्रम कार्ड धारक है तथा और संगठित क्षेत्र में काम करने वाले लेबर श्रमिक मजदूर है और अपना ई-श्रम कार्ड बनवा रखे हैं तो आपके लिए बड़ी खुशखबरी लेकर आया हूं। नीचे इस आर्टिकल में खुशखबरी से जुड़ी पूरी जानकारी विस्तृत रूप से प्रदान की है जिसे आप अंत तक पढ़कर जान सकते हैं। सुप्रीम कोर्ट ने ई-श्रम कार्ड धारकों के लिए बड़ी खुशखबरी जारी करते हुए यह कहा है कि जितने भी अ-संगठित क्षेत्र में काम करने वाले लेबर मजदूर हैं उन्हें E Shram Card On Ration Card बनाया जाए। नीचे इस आर्टिकल में पूरे विस्तृत रूप से E Shram Card On Ration Card से जुड़ी पूरी जानकारी प्रदान की है जिसे आप अंत तक पढ़कर संपूर्ण जानकारी जान सकते हैं। मिली जानक...

ये तो हद हो गई, आपकी ह‍िम्‍मत कैसे हुई... सुप्रीम कोर्ट ने राशन कार्ड को लेकर लगाई क‍िन राज्‍यों को फटकार, बिहार की तारीफ

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 सुप्रीम कोर्ट ने राशन कार्ड को लेकर लगाई क‍िन राज्‍यों को फटकार,  ये तो हद हो गई, आपकी ह‍िम्‍मत कैसे हुई... सुप्रीम कोर्ट ने राशन कार्ड को लेकर लगाई क‍िन राज्‍यों को फटकार, बिहार की तारीफ प्रवासी मजदूरों को राशन नहीं मिलने पर सुप्रीम कोर्ट ने राज्‍यों को कड़ी फटकार लगाई. यहां तक कह डाला क‍ि अब तो हद हो गई. आपकी ह‍िम्‍मत कैसे हुई. हालांक‍ि, अदालत ने बिहार और तेलंगाना की तारीफ की.  नई द‍िल्‍ली, सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद कई बार राज्‍य सरकारें लापरवाही बरतती हैं और उसका खामियाजा लोगों को उठाना पड़ता है. इस बार भी कुछ ऐसा हुआ. सर्वोच्‍च अदालत ने देश के सभी राज्‍यों को ई-श्रम पोर्टल पर रज‍िस्‍टर प्रवासी मजदूरों के सत्‍यापन का आदेश दिया था, ताकि उन्‍हें राशन कार्ड जारी क‍िए जा सकें. इसके ल‍िए बकायदा समय द‍िया गया था. लेकिन राज्‍य एक बार फ‍िर मुंह लटकाए सुप्रीम कोर्ट पहुंच गए, और वक्‍त देने की मांग की. इस पर अदालत ने कड़ी फटकार लगाई. जस्‍ट‍िस सुधांशु धूलिया और जस्‍ट‍िस अहसानुद्दीन अमानुल्लाह की पीठ ने श्रमिकों के सत्‍यापन पर देरी को दुर्भाग्‍यपूर्ण बताया. अदालत ने कहा...